राजनांदगांव : 2500 रुपए बेरोजगारी भत्ते के लिए निजी नौकरी को ना, प्लेसमेंट कैंपों में चयन पर नौकरी ज्वाइन नहीं कर रहे युवा…

राजनांदगांव – सरकार के बेरोजगारी भत्ते की उम्मीद लगाए युवा अब निजी नौकरी के मौकों को भी दरकिनार कर रहे हैं। यही है कि इन दिनों ब्लॉक लेवल पर तीन अलग-अलग कंपनियों नौकरी का ऑफर लिए प्लेसमेंट कैंप लगा रही है लेकिन इसमें चयन के बाद भी युवा नौकरी ज्वाइन नहीं कर रहे हैं।

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इसकी बड़ी वजह रोजगार कार्यालय में होने वाली रिकार्ड एंटी भी है। अगर इन कैंपों में चयन के बाद चयनों ने नौकरी ज्वाइन कर ली. तो सरकारी रिकार्ड में उन्हें बेरोजगार नहीं माना ज्यानिंग के दो माह बाद भी अभ्यर्थी ने नौकरी छोड़ दी, तो फिर उसे बेरोजगारी भत्ते के लिए पात्र नहीं माना जाएगा। क्योंकि उक्त कैमों का आयोजन प्रशासन द्वारा ही रोजगार उपलब्ध कराने लगाया जा रहा है।

यही वजह है कि 2500 रुपए प्रतिमाह के बेरोजगारी भत्ते के लिए युवा इन दिनों 10 से 14 हजार रुपए महीने तक के नौकरी को न कह रहे हैं। ब्लॉक लेवल में लगातार प्लेसमेंट कैप का आयोजन किया जा रहा है। ऐसे कैप पहले भी लगते रहे हैं, जिसमें बेरोजगारों की भीड़ उमड़ पड़ती थी। लेकिन सरकार के बेरोजगारी भते की घोषणा के बाद से इन कैंपों में सामान्य दिनों से 20 से 30 फीसदी युवा पहुंच रहे हैं। चयन के बाद वे ज्वाइनिंग को लेकर रुचि नहीं दिखा रहे हैं।

इधर बेरोजगारी भत्ता देने से पहले सरकार ने रोजगार देने की भी तैयारी की है। इसी के तहत अप्रैल के पहले सप्ताह में जिले में मेगा रोजगार कैंप लगाने की तैयारी है। इसमें करीब 40 हजार पदों के लिए भर्ती प्रक्रिया होगी। सभी रोजगार निजी सेक्टर के ही होंगे। जिसमें कक्षा 8वी से लेकर उच्च शिक्षितों को भी रोजगार का अवसर अलग-अलग पदों पर मिलेगा।

जिले में 87 हजार से अधिक पंजीकृत बेरोजगार हैं। इसे देखते हुए इस मेगा रोजगार कैंप का आयोजन किया जा रह है। कैंप में नौकरी ज्वाइन करने वाले बेरोजगारी की सूची से बाहर हो जाएंगे। निर्धारित नियम व शर्तों का पालन करना अनिवार्य होगा।

इधर बेरोजगारी भत्ते को अभी तक कई बिंदुओं पर स्पष्ट गाइड लाइन जारी नहीं हुआ है। मसलन एक ही माता-पिता के दो बेरोजगार संतान भत्ते के लिए आवेदन करते हैं, और दोनों पात्रता भी रखते हैं, तो बेरोजगारी भत्ता दोनों को मिलेगा या किसी एक को यह स्पष्ट नहीं है। इस स्थिति में सरकार किसे पात्र मानेगी। यह भी स्पष्ट नहीं है।

जिला रोजगार अधिकारी ने बताया कि अभी कुछ गाइडलाइन आना शेष है। इसके बाद सारी स्थिति स्पष्ट हो जाएगी। इधर शुरुआती गाइडलाइन में डॉक्टर, इंजीनियर, वकील और सीए के परिवार के सदस्यों को भी बेरोजगारी भत्ते के लिए अपात्र की श्रेणी में माना गया है.

प्लेसमेंट कैंप में चयन के बाद भी नौकरी ज्वाइन नहीं करने वाले युवाओं ने कंपनी व एजेंसियों के सामने भी अपना पक्ष रखा है। नौकरी ज्वाइन नहीं करने की वजह बेरोजगार युवाओं ने काम अपने जिले में नहीं मिलना बताया है। वहीं कैंप में पहुंच रहे बेरोजगार पहली मांग अपने हो जिले व नगरीय क्षेत्र में काम की भी डिमांड रख रहे हैं। बेरोजगारों का पक्ष है कि एजेंसी राज्य के दूसरे जिलों में नौकरी की बात कह रहे हैं। जहां 10 से 14 हजार प्रतिमाह का वेतन उनके लिए पर्याप्त नहीं है।

इन दिनों अविभाजित जिले में फायर सेफ्टी और सुरक्षा एजेंसी की तीन कंपनियां प्लेसमेंट कैम चला रही है।यह कैंप ब्लाक मुख्यालयों में आयोजित हो रहे हैं। इसमें चयन उपरांत मौके पर ही नियुक्ति का भी दावा कंपनी कर रही है। लेकिन अब तक इन कंपनियों को उम्मीद के डोंगरगढ़ के कैंप में भी 7 से 8 युवा को नियुक्ति का ऑफर दिया गया। लेकिन अब तक नियुक्ति नहीं मिली।